69000 शिक्षक भर्ती के आदेश में सबसे ज्यादा नुकसान शिक्षामित्रों का हुआ, मामला सुप्रीम कोर्ट जाना तय है
जब कल आदेश आया तो एक तरफ खुशी का माहौल था तो दूसरी ओर गम का माहौल। शिक्षामित्र इतने दिनों से यह सोचते थे कि इस भर्ती में वह जीतेंगे तो उनके अधिक साथी इस भर्ती में होंगे। लेकिन इस बार भी उनका हाथ खाली रह गया। सुप्रीम कोर्ट ने बहुत पहले ही शिक्षामित्रों को दो बार मौका दिए जाने का आदेश दिया था। एक भर्ती 68000 की जो शिक्षामित्रों के हाथ से निकल चुकी है दूसरे मौके में शिक्षामित्रों को बहुत ही आशा थी, कि इस मौके में मेरे अधिक से अधिक साथी इस भर्ती में हो जाएंगे
लेकिन जब कल आदेश आया तो शिक्षामित्रों के खेमे में दुख: का माहौल हो गया। अब उनके सामने एक ही विकल्प है या तो सरकार से अपने लिए अलग से मदद की मांग करें और दूसरी ओर सुप्रीम कोर्ट का दरवाजा खटखटाये और उच्चतम न्यायालय मे शिक्षामित्रो के लिए केस लड़े और जीते। लेकिन सुप्रीम कोर्ट में केस लड़ना उतना आसान नहीं है उस में शिक्षामित्रों का बहुत पैसा खर्च होगा और समय भी लगेगा। लेकिन अंततः यही कहूंगा कि हारा वही जो लड़ा नहीं